समाजवादी पार्टी के वरिष्ठ नेता आजम खान मंगलवार की सुबह सीतापुर जेल से बाहर आ गए हैं. उनके खिलाफ कई आपराधिक मामले दर्ज हैं और वे लगभग दो साल बाद जेल से रिहा हुए हैं. उन्हें सभी मामलों में जमानत मिल गई. खान को लेने के लिए बेटे अब्दुल्ला, अदीब आजम खान सहित उनके समर्थक पहुंचे. इस दौरान सीतापुर जेल प्रशासन ने सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए.आजम के वकील जुबैर अहमद खान का कहना है कि रामपुर पुलिस की ओर से पिछले हफ्ते आजम के खिलाफ 2020 की एक एफआईआर में लगाए गए तीन अतिरिक्त आरोपों के खिलाफ हम पहले ही सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटा चुके हैं. उस मामले में पहले ही जमानत मिल चुकी है.

पहले भी पुलिस ने एक मामले में कुछ अतिरिक्त धाराएं लगाई थीं, जिस पर सुप्रीम कोर्ट का रुख किया गया और जमानत मिली थी.आजम खान ने 26 फरवरी 2020 को रामपुर की एक अदालत में सरेंडर किया था और उन्हें जालसाजी के एक मामले में जेल भेजा गया था. इसके बाद उनकी पत्नी और बेटे को सीतापुर जेल भेजा गया. हालांकि उनकी पत्नी और बेटे को बाद में रिहा कर दिया गया, लेकिन आजम जेल में ही रहे. साल 2022 में आजम जमानत पर जेल से रिहा हुए. हालांकि, अक्टूबर 2023 में उनके खिलाफ एक नया मामला दर्ज हुआ, जिसके उन्होंने रामपुर की कोर्ट में फिर सरेंडर किया. वहां से उन्हें वापस सीतापुर जेल भेजा गया, जहां वे तब से रह रहे थे।आजम खान एक ऐसा नाम है जिसकी रामपुर सहित पश्चिमी यूपी में तूती बोलती थी. अगर उनकी भैंस भी गायब हो जाती थी तो अधिकारियों के हाथ-पांव फूल जाते थे और पैदल ही भाग खड़े होते थे. लेकिन, उनके सितारे उस समय गर्दिश में पहुंचे जब साल 2017 में यूपी में सत्ता परिवर्तन हुआ और योगी आदित्यनाथ मुख्यमंत्री बने. उन्हें भूमाफिया घोषित किया गया और 100 से ज्यादा केस दर्ज हुए।