अपनी मांग को लेकर आमरण अनशन पर बैठे 10 और किसान,आखिर इनकी मांगे कब सुनेगी मोदी सरकार?

किसानों की अलग-अलग मांगों के समर्थन में अनिश्चितकालीन अनशन पर बैठे किसान नेता जगजीत सिंह डल्लेवाल के मामले ने नया मोड़ ले लिया है. इस मसले पर पंजाब और केंद्र सरकार के रुख से नाराज 10 और किसान खनौरी आंदोलन स्थल पर आमरण अनशन पर बैठ गए हैं. डल्लेवाल के अलावा पंजाब के 111 किसान अनिश्चितकालीन अनशन पर बैठे हैं।पंजाब और हरियाणा के बीच खनौरी बॉर्डर पर पत्रकारों को संबोधित करते हुए किसान नेता अभिमन्यु कोहाड़ ने कहा कि हरियाणा के हिसार, सोनीपत, पानीपत और जींद जिलों के 10 किसानों ने शुक्रवार को आमरण अनशन शुरू किया।किसान नेता अभिमन्यु कोहाड़ ने कहा, ‘आज देश का किसान जगजीत सिंह डल्लेवाल के दिखाए रास्ते पर चलकर अपना बलिदान देने के लिए तैयार है. देश का किसान समझता है कि डल्लेवाल ने अपनी जमीन, खेती और आने वाली पीढ़ी को बचाने के लिए 53 दिन से भूख हड़ताल पर हैं.

हम सब उनके साथ कंधे से कंधा मिलाकर खड़े हैं।इस बीच किसान नेताओं ने कहा कि डल्लेवाल की तबीयत ‘बिगड़ रही है’ और गुरुवार की रात को उन्हें तीन-चार बार उल्टियां हुईं. वह केवल 150-200 मिलीलीटर पानी ही पी पा रहे हैं. इससे पहले किसानों ने कहा था कि डल्लेवाल का पानी पीना कम हो गया है. जब भी वह पानी पीते हैं, उन्हें उल्टी हो जाती है. जगजीत सिंह डल्लेवाल ने अपने अनशन के दौरान कोई भी चिकित्सा सहायता लेने से इनकार कर दिया है।बता दें कि संयुक्त किसान मोर्चा (गैर-राजनीतिक) और किसान मजदूर मोर्चा के बैनर तले किसान 13 फरवरी 2024 से पंजाब और हरियाणा के बीच शंभू और खनौरी बॉर्डर पर डेरा डाले हुए हैं. सुरक्षा बलों ने उन्हें केंद्र सरकार पर न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) की कानूनी गारंटी सहित अन्य मांगों को मानने का दबाव बनाने के लिए दिल्ली तक मार्च करने से यहीं पर रोक दिया था।